Life, My Poems, Women

मन में मूरत

यह कविता मैंने एक ‘दुर्गा पूजा’ पर प्रकाशित एक स्मारिका  के लिये उनके अनुरोध पर लिखी है !  

इस में कन्या भ्रूण हत्या की शिकार एक नन्ही-मुन्नी की आत्मा की अभिलाषा को नया रूप देने का और उसे माँ दुर्गा से जोड़ने काप्रयास है |

Man mein moorat

3 thoughts on “मन में मूरत”

  1. Reblogged this on R K Karnani blog and commented:

    पिछले नवरात्र में लिखी थी  ये कविता !  इसे Reblog करना सामयिक लगा |  सुधार एवं उत्साह वर्धन के लिए आपकी टिप्पणी का इंतज़ार है | 

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  2. Pingback: R K Karnani blog

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